जगदलपुर/बस्तर न्यूज
शहर के वृंदावन कॉलोनी स्थित भगवान श्री अय्यप्पा मंदिर के 38वें वार्षिकोत्सव के तहत आज पांचवें दिन सुबह श्री राम पूजा एवं श्री हनुमान पूजा के पश्चात देर शाम को आखेट यात्रा निकाली गयी और रेलवे कॉलोनी स्थित श्री राम मंदिर में आखेट पूजा के पश्चात शोभायात्रा के रूप में भगवान श्री अय्यप्पा की मंदिर धाम में वापसी हुई।
गौरतलब है कि पौराणिक मान्यता के अनुसार भगवान श्री अय्यप्पा जो कि भगवान शिव और मोहनी का अवतार लिये भगवान विष्णु से उत्पन्न संतान हैं, उनकी परीक्षा लेने उनकी गोद माँ अर्थात महारानी द्वारा बीमारी का बहाना बनाकर वैद्य के माध्यम से उपचार के लिए शेरनी का दूध लाने कहा जाता है, मणिकंठन अर्थात भगवान अय्यप्पा शेरनी का दूध लाने का वचन देते हुए जंगल की ओर आखेट पर निकल पड़ते हैं, उनके जंगल पहुंचने के बाद शेरनियों का झुंड उनके साथ महल ही आ जाता है, और इसके पश्चात महारानी को अपनी गलती का बोध होता है। इसी मान्यता के आधार पर ही उत्सव के दौरान आखेट पूजा का आयोजन किया जाता है। आज शाम अय्यप्पा मंदिर से रेलवे कॉलोनी स्थित श्री राम मंदिर परिसर में बनाये गये प्रतीकात्मक वन में आखेट पूजा के पश्चात शोभयात्रा के साथ धूम-धाम से देर शाम मंदिर में वापसी हुई।
महादेव घाट से 2 फरवरी को भव्य शोभायात्रा निकलेगी
भगवान श्री अय्यप्पा मंदिर के वार्षिकोत्सव के तहत कल 2 फरवरी को शहर के महादेवघाट से शाम को भव्य शोभायात्रा निकाली जायेगी, इस शोभायात्रा में सैकड़ों की संख्या में बालिकाएं व महिलाएं दीपथाल लिये भगवान अय्यप्पा के रथ की अगवानी करतीं हैं, वहीं इस बार भी श्रृंगारी मेलम आकर्षण का केन्द्र होगा। धान समर्पण व ध्वजावरोहण के पश्चात इस वर्ष के उत्सव का समापन होगा।