दंतेवाड़ा

परंपरागत जैविक कृषि में ही है कृषकों की आर्थिक समृद्धि : विधायक

दंतेवाड़ा। आज जावंगा ऑडिटोरियम में द्वि दिवसीय ऑर्गेनिक दंतेवाड़ा कॉन्कलेव के अंतिम दिन मुख्य अतिथि के रूप में पधारे क्षेत्र विधायक चैतराम अटामी ने वक्तव्य में कहा कि यह हर्ष का विषय है कि जिले में प्रथम बार ऑर्गेनिक दंतेवाड़ा कॉन्कलेव का आयोजन किया गया है। इस आयोजन से न केवल हमारे जिले के जैविक कृषकों की उपलब्धियों को सम्मानित किया गया। इसके साथ ही परंपरागत खेती के महत्व और उसकी परंपरागत विरासत को दर्शाया गया है। जैविक खेती न केवल कृषि की एक स्वस्थ और पर्यावरण-अनुकूल विधि है।

विशिष्ट अतिथि के रूप में पधारे जैविक कृषि विशेषज्ञ पद्मश्री भारत भूषण त्यागी ने भी अपना वक्तव्य दिया ज्ञात हो कि बुलंदशहर उत्तर प्रदेश के निवासी त्यागी भारतीय किसान शिक्षक और प्रशिक्षक है। जिन्होंने जैविक कृषि के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान दिया है। जिसके लिए भारत सरकार द्वारा पद्मश्री अवार्ड से नवाजा गया है। उनका कहना था कि कृषकों की आर्थिक विकास जैविक कृषि से ही संभव है। इसके अलावा हमें बहु फसलीय पद्धति का भी अनुकरण करना होगा। यदि पूरी समझदारी से जैविक कृषि के नियमों को सीखा जाए तो फसल उत्पादन में बढ़ोतरी निश्चित है।

इसके साथ ही विधायक एवं जनप्रतिधियों के हाथों कृषकों को कृषि यंत्रों का वितरण, 16 ग्रामों को वृहद क्षेत्र प्रमाणीकरण अन्तर्गत प्रमाण पत्र का वितरण के साथ-साथ जिले के 1062 आंगनबाड़ी केन्द्र में गंभीर कुपोषित बच्चों को दिए जाने वाले जैविक मल्टीग्रेन मिलेट पोषण आहार को ’’लांच’’ किया गया।

इस इस मौके पर जिला पंचायत सदस्य रामूराम नेताम, जिला पंचायत सदस्य वेशुराम मंडावी, सहित अन्य जनप्रतिनिधि एवं कलेक्टर मयंक चतुर्वेदी, कृषि उप संचालक सूरज पंसारी सहित अन्य जिलों के कृषि अधिकारी उपस्थित थे।

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