दंतेवाड़ा

शिक्षा और खेल सिक्के के दो पहलू, पढ़ाई के साथ खेल भी जरूरी : सुनीता भास्कर

दंतेवाड़ा । प्रदेश के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की मंशानुरूप राज्य शासन द्वारा बस्तर जिले के अंदरूनी इलाकों के खिलाड़ियों की प्रतिभा को निखारने के लिए बस्तर ओलंपिक 2024 के रूप में एक अवसर, एक मंच दिया जा रहा है, जिसमें स्थानीय खिलाड़ी अपनी खेल प्रतिभा को बेहतर करते हुए बड़े अवसर की ओर बढ़ सकते हैं। इस क्रम में हाईस्कूल मैदान में आज जिला स्तरीय बस्तर ओलंपिक का आगाज हुआ। जिसके तहत खेल मैदान में दंतेवाड़ा, कुआकोंडा, कटेकल्याण, गीदम विकासखण्डों के खिलाड़ियों के 100 मीटर दौड़ का प्रारंभ उडन क्लिप बजाकर किया गया।

शुभारंभ कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए जनपद पंचायत अध्यक्ष श्रीमती सुनीता भास्कर ने कहा कि पढ़ाई के साथ खेल सिक्के के दो पहलू है। हम जब खेल खेलेंगे तो हमारा शरीर तंदुरुस्त रहेगा, जिससे पढ़ाई में भी मन लगा रहेगा। उन्होंने कहा कि मानव जीवन में अनुशासन का बहुत ही महत्व है। खेलों से ही अनुशासन सीखने को मिलता है। जिला पंचायत सदस्य रामूराम नेताम ने कहा कि आप सभी अपनी खेल प्रतिभा को उत्कृष्ट करने हेतु प्रतियोगिता में शामिल होने जा रहें है। इन खेलों में आप सभी को अपना बेहतर प्रदर्शन करना है।

वही कलेक्टर मयंक चतुर्वेदी ने कहा कि सम्पूर्ण खेल आयोजन के दौरान किसी भी प्रकार की असुविधा होने पर तत्काल खिलाड़ी प्रशासन को अवगत कराएं ताकि उसका तुरंत निदान किया जा सके। इसके साथ ही उन्होंने बस्तर ओलंपिक के आयोजन के उद्देश्यों पर प्रकाश डालते हुए कहा कि कुस्ती जैसे खेलों में हरियाणा पंजाब एवं पश्चिमी उत्तर प्रदेश एवं केरल राज्य से एथलेटिक्स के खिलाड़ियों ने राष्ट्रीय अंतर्राष्ट्रीय खेलों में देश का नाम रौशन किया है। क्योंकि इन राज्यों की आबो हवा इन्हीं खेलों के अनुरूप है। इसे देखते हुए शासन ने भी खेल प्रतिभाओं को निखारने के लिए ऐसे स्थानों को चयन किया है जहां सुविधाएं एवं संसाधनों की कमी है। उन्होंने खिलाड़ियों को शुभकामनाएं देते हुए कहा कि संभाग स्तरीय बस्तर ओलंपिक में दंतेवाड़ा को अधिक से अधिक पदक दिलाएं।

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