जगदलपुर/बस्तर न्यूज
भोजन आपके शरीर के लिए ईंधन है। लेकिन कैलोरी और पोषक तत्वों का सही संतुलन पाना मुश्किल हो सकता है। अतः भोजन पर नियंत्रण कर हम सभी रोगों पर नियंत्रण पा सकते है और उन्हें जड़ से मिटा सकते हैं। उक्त बातें सिंधु समाज द्वारा आयोजित स्वास्थ्य परिचर्चा में मुख्यवक्ता, आयुर्वेदाचार्य, योगगुरु डॉ मनोज पानीग्राही ने स्वास्थ्य परिचर्चा में बताई और साथ ही बीमारियों को खानपान से रिवर्स करने के तरीक़े भी बताये। आदर्श दिनचर्चा के लिए रोगानुसार अनेकों टिप्स दिये।
इस अवसर पर मुख्य अतिथि वरिष्ठ पार्षद योगेन्द्र पांडे, विशिष्ट अतिथि कार्यकारिणी सदस्य श्रीमती मान कोरम व इला राव और सिंधु समाज के अध्यक्ष मनीष मूलचन्दानी उपस्थित थे। भगवान झूलेलाल व भारत माता के चित्र के समक्ष दीप प्रज्वलन कर मुख्य अतिथि योगेन्द्र पांडेय ने कहा कि समाज को स्वस्थ्य बनाने की पहल स्वागत योग्य है, खानपान में सयंम कर रोगों से बचा जा सकता है। समाज अध्यक्ष मनीष मूलचंदानी ने कार्यक्रम का संचालन करते हुये कहा कि इतनी बड़ी संख्या में समाज के लोगों की उपस्थिति समाज के स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता को दिखाता है। इस परिचर्चा में लोगों ने अपने प्रश्न पूछ कर जिज्ञासा का समाधान पाया।
डॉ मनोज पानीग्राही ने लाइफ स्टाइल रोगों की अपने भोजन, पानी, सोने, जागने के अनुशासित बदलाव कर कैसे मिटाया जा सकता है। इस पर अपना विस्तार से चर्चा की। भोजन और इंटरमिटेंट फ़ास्टिंग कैसे काम करता है और क्या आपको इसे आज़माना चाहिए। इंटरमिटेंट फ़ास्टिंग को आज पूरी दुनियाँ के चिकित्सा विज्ञानी सभी बीमारियों रिवर्स करने का सशक्त माध्यम मानते हैं। उन्होंने आगे कहा कि उपवास सिर्फ़ एक समयावधि है, जब आप बिना खाए रहते हैं। जबकि आंतरायिक उपवास एक खाने की योजना है। आप अपने सभी भोजन और नाश्ते सुबह 10 बजे से शाम 6 बजे के बीच खा सकते हैं, फिर दिन के बाकी 16 घंटे उपवास कर सकते हैं। कुछ लोग खाने के लिए 6 घंटे की खिड़की चुनते हैं। ये ऐसी चीज़ है जिसे आप आसानी से अपने जीवन में रोगों में नियंत्रण बिना दवा के पा सकते हैं।
आयोजन को सफल बनाने में संजय नात्थानी, सुनील दंडवानी, हरेश नागवानी, बृजलाल नागवानी, राजेश दूल्हानी, डुला लछवानी, अनिल हासानी, डाक्टर टी सी आडवाणी, विजय बसंतवानी, कैलाश दंडवाणी, रविंद्र हेमनानी, दीपक वासवानी, पुष्पा मनवानी, चंद्रा देवी नवतानी, प्रिया दूल्हानी, कृष्णा हर्जपाल, रेखा दूल्हानी, रजनी दंडवानी, माया माधवानी, पूजा मूलचंदानी, शेवता मनवानी, पूनम दुलहनी, रेशमा भोजवानी सहित सैकड़ो लोगों का सहयोग रहा।